फर्जी कैंडिडेट बैठाकर नौकरी हासिल करने वालों पर कार्रवाई

Saturday, Feb 08, 2025-05:54 PM (IST)

राजस्थान में रेलवे भर्ती परीक्षा में डमी कैंडिडेट के जरिए नौकरी पाने का मामला उजागर

राजस्थान में रेलवे भर्ती परीक्षा में धांधली का सनसनीखेज मामला सामने आया है, जिसमें डमी कैंडिडेट का उपयोग कर फर्जी तरीके से नौकरी हासिल की गई। इस मामले की जांच कर रही सीबीआई ने कोटा के भदाना इलाके समेत तीन स्थानों पर छापेमारी कर महत्वपूर्ण दस्तावेज बरामद किए हैं।

डमी कैंडिडेट के जरिये मिली नौकरी

रेलवे विजिलेंस को जबलपुर स्थित पश्चिम मध्य रेलवे मुख्यालय से शिकायत मिली थी, जिसमें कोटा मंडल के पॉइंटमैन (सोगरिया) पर गंभीर आरोप लगे थे। शिकायत के अनुसार, पॉइंटमैन ने रेलवे भर्ती परीक्षा में डमी कैंडिडेट का इस्तेमाल कर नौकरी हासिल की। इस प्रक्रिया में नकली तस्वीरें, फर्जी पहचान पत्र और फिंगरप्रिंट का उपयोग किया गया था।

रेलवे के वरिष्ठ वाणिज्य प्रबंधक सौरभ जैन ने बताया कि रेलवे विजिलेंस विभाग पहले ही इस संबंध में जांच कर रहा था। तीन रेलवे कर्मचारियों को इस घोटाले में शामिल होने के आरोप में निलंबित किया जा चुका है। विजिलेंस द्वारा मिली जानकारी के आधार पर सीबीआई ने इस मामले में कार्रवाई की।

निलंबित कर्मचारियों के घरों पर छापेमारी

सीबीआई की टीम ने भदाना रोड स्थित अमरूदों का बाग इलाके में दबिश दी, जहां निलंबित चल रहे रेलवे के गार्ड राजेंद्र और उनकी भाभी आशा मीणा के घरों की तलाशी ली गई। इस दौरान टीम ने लगभग तीन घंटे तक दस्तावेजों की जांच की और कई अहम कागजात अपने कब्जे में लिए। गार्ड राजेंद्र ने बताया कि सीबीआई अधिकारियों ने उनसे लंबी पूछताछ की और उनके घर से परीक्षा संबंधित कागजात और मार्कशीट जब्त कर ली।

पति ने पत्नी पर लगाया धोखाधड़ी का आरोप

इस घोटाले का सबसे चौंकाने वाला पहलू तब सामने आया जब कोटा के निवासी मनीष मीणा ने अपनी पत्नी सपना मीणा के खिलाफ रेलवे में धोखाधड़ी से नौकरी हासिल करने की शिकायत की। मनीष मीणा ने बताया कि उसकी पत्नी, जो कि सवाई माधोपुर की निवासी है, ने वर्ष 2019 में आरआरबी बोर्ड अजमेर के माध्यम से ग्रुप डी भर्ती के लिए आवेदन किया था। परीक्षा में सफलता प्राप्त करने के लिए उसने एक डमी कैंडिडेट को परीक्षा दिलवाई और फिजिकल टेस्ट भी उसी से करवाया।

शिकायत की जांच के बाद रेलवे विभाग ने सपना मीणा, आशा मीणा और गार्ड राजेंद्र को निलंबित कर दिया।

आगे की कार्रवाई

इस मामले में रेलवे विजिलेंस और सीबीआई की संयुक्त जांच जारी है। रेलवे प्रशासन ने स्पष्ट किया है कि दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी और इस तरह की घटनाओं को रोकने के लिए सख्त कदम उठाए जाएंगे।

इस प्रकरण ने रेलवे भर्ती प्रक्रिया में पारदर्शिता को लेकर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। अब देखना होगा कि जांच में और कौन-कौन से नाम सामने आते हैं और इस फर्जीवाड़े में लिप्त आरोपियों को कब तक सजा मिलती है।


Content Editor

Liza Chandel

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