नवरात्रि में मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा की शक्ति साधना: तप, अनुशासन और सेवा का संगम

Monday, Sep 29, 2025-05:15 PM (IST)

जयपुर। शारदीय नवरात्रि में जब पूरा देश देवी मां की भक्ति में लीन है, राजस्थान के मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने इस अवसर को एक आध्यात्मिक साधना और आत्म-अनुशासन के रूप में अपनाया है। मुख्यमंत्री न केवल व्रत कर रहे हैं, बल्कि उन्होंने पिछले आठ माह से अन्न का पूरी तरह से त्याग कर रखा है। नवरात्रि के दौरान वे सिर्फ नींबू पानी और नारियल पानी के सहारे पूरे दिन रहते हैं। मुख्यमंत्री का मानना है कि यह शक्ति उपासना उन्हें मां दुर्गा की प्रेरणा और आशीर्वाद से ही संभव हो रही है। वे कहते हैं कि यह उपवास केवल पूजा-पाठ नहीं, बल्कि एक गहन आध्यात्मिक तपस्या है, जो उन्हें आत्मबल और मन की एकाग्रता प्रदान करती है।

व्रत नहीं, जीवन शैली का हिस्सा है यह अनुशासन

जहां आम लोग व्रत में एक बार फलाहार या मिठाई से भूख शांत करते हैं, मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा का व्रत पूर्णतः संयम और साधना से जुड़ा हुआ है। उनके अनुसार, इन नौ दिनों में शरीर से अधिक मन और आत्मा की शुद्धि होती है। यह उनके लिए आत्म-अनुशासन का पर्व है, न कि केवल धार्मिक रस्म।

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स्वास्थ्य का मंत्र: सादगी और संयम

मुख्यमंत्री के रोज़मर्रा के भोजन में भी अन्न नहीं है। वे फलाहार, उबली हुई सब्जियाँ, नींबू पानी, नारियल पानी, चाय और गाय का दूध लेते हैं। साथ ही योग, ध्यान और नियमित वॉक उनकी दिनचर्या का अहम हिस्सा हैं। वे मानते हैं कि स्वस्थ शरीर और शांत मन ही किसी भी सेवा कार्य की नींव हैं।

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सेवा कार्यों में भी कोई कमी नहीं

नवरात्रि के इन पावन दिनों में भी मुख्यमंत्री ने अपना प्रशासनिक दायित्व नहीं छोड़ा। जानकारी के अनुसार, उन्होंने अब तक 42 से अधिक कार्यक्रमों में भागीदारी, उद्घाटन, अवलोकन और शिलान्यास किए हैं। इनमें से लगभग 18 बार वे जयपुर से बाहर दौरे पर । यह दर्शाता है कि उनका व्रत, उनकी कार्यक्षमता में बाधा नहीं बल्कि ऊर्जा का स्रोत बन चुका है।

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"संयम ही सबसे बड़ा शस्त्र है" — मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा

मुख्यमंत्री का स्पष्ट कहना है कि व्रत केवल आस्था नहीं, बल्कि आत्म-अनुशासन की तपस्या है। यह केवल भूख सहने की प्रक्रिया नहीं, बल्कि मन और आत्मा की साधना है। उन्होंने अपने जीवन को एक प्रेरक उदाहरण बनाकर दिखाया है कि राजनीति में रहते हुए भी अध्यात्म और सेवा दोनों को संतुलित किया जा सकता है।

 


Content Editor

Kuldeep Kundara

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