अनुसंधान में एआई की भूमिका’ पर दो दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय संगोष्ठी श्रीगंगानगर में सम्पन्न

Wednesday, Oct 08, 2025-09:06 PM (IST)

श्रीगंगानगर । टांटिया यूनिवर्सिटी के शिक्षा संकाय एवं शारीरिक शिक्षा संकाय के संयुक्त तत्वावधान में ‘अनुसंधान के विभिन्न क्षेत्रों में कृत्रिम बुद्धिमत्ता की भूमिका’ विषयक दो दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय संगोष्ठी बुधवार को सम्पन्न हो गई। इसमें नेपाल के साथ भारत के 11 राज्यों से शोधार्थियों एवं प्रोफेसर ने भाग लिया।

दूसरे दिन पहले सत्र में मुख्य अतिथि साइबर क्राइम थाने के डीवाईएसपी कुलदीप वालिया थे। उन्होंने साइबर क्राइम के बढ़ते मामलों पर प्रकाश डालते हुए इनकी जागरुकता पर बल दिया।  उन्होंने बताया कि किसी अनजान व्यक्ति को अपना मोबाइल फोन न दें। एटीएम का उपयोग किसी के सामने नहीं करें। किसी अनजान व्यक्ति से अपने खाते में रुपए नहीं मंगवाएं। उन्होंने यह सलाह भी दी कि सिम लेते समय अथवा अपनी आईडी कहीं देनी हो तो कोशिश करें कि आधार कार्ड न देना पड़े। ड्राइविंग लाइसेंस से काम चला लें।

की-नोट स्पीकर के रूप में डीएवी बीएड कॉलेज के प्रोफेसर डॉ. विजयकुमार ग्रोवर ने कहा एआई के सकारात्मक पहलुओं पर प्रकाश डालते हुए कहा कि आने वाले समय में शोध के लिए एआई बहुत उपयोगी साबित हो सकता है, लेकिन इसका उपयोग बहुत सावधानीपूर्वक करना होगा। उन्होंने एआई के फायदे एवं नुकसान दोनों की चर्चा की और यह भी कहा कि शोध में सारा काम एआई नहीं कर पाएगा। आपको खुद भी मेहनत करनी होगी। हां, आपको बहुत-सी एआई से मिल जाएगी।
संगोष्ठी के समन्वयक एवं शारीरिक शिक्षा संकाय के अधिष्ठाता डॉ. सुरजीतसिंह कस्वां एवं शिक्षा संकाय की उप प्राचार्य डॉ. रेखा सोनी ने सभी का आभार व्यक्त किया।

कार्यक्रम में शिक्षा संकाय के अधिष्ठाता डॉ. राजेंद्र गोदारा, कृषि संकाय के अधिष्ठाता डॉ. उम्मेदसिंह शेखावत, फिजियोथैरेपी के प्रभारी दयानंदसिंह, शारीरिक शिक्षा संकाय के डॉ. अनुराग बिस्सू व लेफ्टीनेंट संदीप भांभू, शिक्षा संकाय से डॉ. रितुबाला, शिक्षाविद्  रिछपालसिंह सहित अनेक संकाय सदस्य एवं विद्यार्थी मौजूद थे।


Content Editor

Kuldeep Kundara

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