हिंदुस्तान जिंक और जेएनसीएएसआर के बीच एमओयू, सस्टेनेबल जिंक आधारित बैटरी, महंगी और आयातित लिथियम बैटरियों का बेहतर विकल्प
Wednesday, Aug 21, 2024-08:05 PM (IST)
चित्तौड़गढ़ (ब्यूरों), 21 अगस्त 2024। एनर्जी स्टोरेज के भविष्य को आगे बढ़ाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम उठाते हुए भारत की सबसे बड़ी और दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी एकीकृत जिंक उत्पादक कंपनी हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड ने भारत सरकार के विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग के प्रमुख संस्थान जवाहरलाल नेहरू उन्नत वैज्ञानिक अनुसंधान केंद्र जेएनसीएएसआर के साथ एमओयू पर हस्ताक्षर किए। इस सहयोग का उद्देश्य जिंक आधारित बैटरियों के व्यावसायीकरण को बढ़ावा देने के लिए जिंक सामग्री को विकसित करना है।
हिंदुस्तान जिंक और जेएनसीएएसआर के बीच साझेदारी बैटरी प्रौद्योगिकियों के विकास में महत्वपूर्ण क्षण का प्रतीक है जो जिंक की प्रचुर संसाधन उपलब्धता, लागत-प्रभावशीलता और सस्टेनेबल संचालन का परिणाम है। वर्तमान में लिथियम आयन बैटरी बाजार में प्रमुखतया उपयोग में है लेकिन लिथियम की उपलब्धता, खनिज प्रसंस्करण की भौगोलिक सांद्रता और ज्वलन मुद्दों से संबंधित सुरक्षा को लेकर चिंताएं सस्टेनेबल ऊर्जा समाधानों की उन्नति के लिए कुछ प्रमुख चुनौतियां हैं। जिंक आधारित बैटरी मुख्य रूप से लंबी अवधि के भंडारण, लागत प्रभावशीलता, स्थायित्व और सिद्ध सुरक्षा ट्रैक रिकॉर्ड जैसे गुणों के कारण लिथियम आधारित बैटरियों के बेहतर विकल्प हैं। ये बैटरियां उच्च स्तरीय रक्षा क्षेत्र एयरो स्पेस और समुद्री सहित, नवीकरणीय ऊर्जा और डेटा केंद्रों और 5जी दूरसंचार आदि के लिए महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे में भरोसेमंद और सफल साबित हुई हैं। जिंक आधारित बैटरी के स्वदेशी विकास से देश में संसाधनों की विशाल उपलब्धता के कारण राजकोष में भी बचत होगी।
एमओयू हस्ताक्षर के अवसर पर हिंदुस्तान जिंक लिमिटेड के सीईओ अरुण मिश्रा ने कहा कि ज़िंक कम कार्बन वाले भविष्य का अभिन्न अंग है और यह एनर्जी स्टोरेज क्षेत्र में लिथियम के लिए एक सुरक्षित और सस्टेनेबल विकल्प है। हिंदुस्तान जिंक द्वारा जलवायु कार्रवाई पहल, बैटरी में ज़िंक के नए प्रयोगों को आगे बढ़ाने और खोजने के लिये चल रहे वैश्विक ऊर्जा संक्रमण की सहायता करने पर केंद्रित है। यह सहयोग उभरती हुई स्वच्छ प्रौद्योगिकियों के विकास के लिए महत्वपूर्ण कच्चे माल का सक्रिय योगदानकर्ता बनकर वैकल्पिक ऊर्जा समाधानों की बढ़ती मांग को पूरा करने में हमारी महत्वपूर्ण भूमिका को दर्शाता है। हिंदुस्तान जिंक का लक्ष्य सस्टेनेबल ऊर्जा समाधानों में परिवर्तन को गति देना है क्योंकि जिंक इस्पात, नवीकरणीय ऊर्जा, बैटरी भंडारण समाधान, इलेक्ट्रिकल्स और इलेक्ट्रॉनिक घटकों और गतिशीलता जैसे सभी महत्वपूर्ण उद्योगों की मूल्य श्रृंखला में महत्वपूर्ण है। जेएनसीएएसआर में प्रो. प्रेमकुमार सेनगुट्टुवन की टीम हिंदुस्तान जिंक के साथ मिलकर ऐसे अग्रणी समाधानों के लिए कार्य करेगी जो जिंक आधारित बैटरियों के प्रदर्शन और विश्वसनीयता को बढ़ाएं।
अपने विचार साझा करते हुए जेएनसीएएसआर के डीन आरएंडडी प्रोफेसर श्रीनिवास ने कहा, प्रो. प्रेमकुमार सेंगुट्टुवन, लिथियम, सोडियम और जिंक-आधारित प्रणालियों में महत्वपूर्ण अनुभव के साथ बैटरी प्रौद्योगिकी में व्यापक विशेषज्ञता लाते हैं। उनके शोध ने ऊर्जा भंडारण अनुप्रयोगों के लिए इन तत्वों के अनूठे लाभों का लाभ उठाया है। जिंक की व्यापक उपलब्धता, न्यूनतम पर्यावरणीय प्रभाव, लागत-प्रभावशीलता और सुरक्षा विशेषताएं इसे स्थायी ऊर्जा समाधानों को आगे बढ़ाने में एक प्रमुख खिलाड़ी के रूप में स्थान देती हैं। हिंदुस्तान जिंक के सहयोग से जिंक-आधारित बैटरी प्रौद्योगिकियों में प्रोफेसर सेंगुट्टुवन का प्रस्तावित कार्य, अधिक सस्टेनेबल और प्रतिरोधक्षमतापूर्ण ऊर्जा भविष्य में महत्वपूर्ण योगदान देने की योग्यता रखता है।