जेएलएफ में यौन उत्पीड़न पर चौंकाने वाले खुलासे, विशेषज्ञों ने दिए महत्वपूर्ण सुझाव

Sunday, Feb 02, 2025-11:28 AM (IST)

जयपुर, 2 फरवरी 2025 । जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल (JLF) में आयोजित 'द सिटी थ्रू हर आईज़: वॉइस ऑन सेक्सुअल हरासमेंट इन इंडिया' सत्र में यौन उत्पीड़न को लेकर चौंकाने वाले तथ्य सामने आए। जे-पाल एशिया द्वारा किए गए सर्वे में खुलासा हुआ कि:

1. जयपुर में 50% महिलाएं यौन उत्पीड़न का शिकार हुई हैं।
2. दिल्ली में यह आंकड़ा 66% तक पहुंच चुका है।
3. पिछले वर्ष जयपुर में 47% और दिल्ली में 64.7% यौन उत्पीड़न के मामले दर्ज किए गए।

विशेषज्ञों ने दी अहम राय
इस गंभीर विषय पर चर्चा के दौरान सामाजिक कार्यकर्ता वृंदा ग्रोवर ने कहा कि यौन उत्पीड़न से जुड़े कानूनों की जानकारी हर नागरिक को होनी चाहिए। उन्होंने विशेष रूप से कॉलेजों और शिक्षण संस्थानों में इस विषय पर जागरूकता बढ़ाने की जरूरत बताई।

इस सत्र में अरुणा रॉय, सीमा जयचंद्रन, अभिजीत बनर्जी और प्रमोद भसीन जैसे विशेषज्ञों ने भी अपने विचार रखे। चर्चा के दौरान राजस्थान के चर्चित भंवरी देवी कांड का उल्लेख किया गया और बताया गया कि दशकों बीत जाने के बाद भी उन्हें न्याय नहीं मिल पाया है।

समाज में बदलाव लाने की जरूरत
अरुणा रॉय ने कहा कि अगर समाज का हर व्यक्ति, खासकर पुरुष वर्ग, इस मुद्दे को गंभीरता से ले तो इसमें सुधार संभव है। उन्होंने सुझाव दिया कि पुलिस थानों से जुड़े महिला सुरक्षा केंद्र बनाए जाएं और उन्हें प्रभावी रूप से चलाया जाए।

सीमा जयचंद्रन ने कहा कि यौन उत्पीड़न सिर्फ भारत ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया में एक गंभीर समस्या है। उन्होंने सवाल उठाया कि "आखिर ऐसी स्थिति कब तक बनी रहेगी?"

कानूनी से अधिक मानसिकता में बदलाव जरूरी
इस चर्चा में यह स्पष्ट किया गया कि यौन उत्पीड़न के खिलाफ लड़ाई सिर्फ कानूनी प्रक्रिया तक सीमित नहीं हो सकती। इसके लिए समाज की सोच और व्यवहार में बदलाव लाने की जरूरत है। शिक्षा, जागरूकता और सामूहिक प्रयासों से ही महिलाओं के लिए सुरक्षित वातावरण बनाया जा सकता है।


 


Content Editor

Chandra Prakash

सबसे ज्यादा पढ़े गए

Related News