सहकारिता मंत्री गौतम कुमार ने दिया आश्वासन, सहकारी बैंकों से ऋण लेने वाले किसानों का 2024-25 का बीमा का दिया आश्वासन
Wednesday, Sep 11, 2024-08:31 PM (IST)
झालावाड़, 11 सितंबर 2024 । सहकारिता मंत्री गौतम कुमार झालावाड़ जिले के निजी दौरे पर रहे । इस दौरान कनवाड़ा कनवाड़ी बालाजी के दर्शन किए । केदार नाथ धाम में भगवान शंकर जी का अभिषेक कर पूजा अर्चना की । सहकारिता मंत्री गौतम कुमार ने देश में अमन चैन व खुशहाली की कामना की । उस दौरान उन्होंने किसानों द्वारा दिए ज्ञापन पर आश्वासन देते हुए कहा कि इस वर्ष 2024-25 में केंद्रीय सहकारी बैंक एवं बीमा कंपनी एवं सरकार के बीच एमओयू हो गया हैं । जीवन सुरक्षा बीमा और दुर्घटना बीमा जल्दी ही शुरू हो जाएगा । जिससे राजस्थान प्रदेश के 28 लाख से अधिक किसानों को इसका लाभ मिलने लग जाएगा ।
इन जागरूक किसानों ने दिया ज्ञापन
सहकारिता मंत्री गौतम कुमार को भारतीय जनता पार्टी मंडल अध्यक्ष सुनेल अशोक कुमार दुबे के नेतृत्व में चंद्रभान सिंह सरपंच ग्राम पंचायत कनवाड़ा, रमेश चंद भील, रामगोपाल गुप्ता, गिरवर सिंह भरत नागर, चैन सिंह नागर, बाल किशन दुबे, अन्तिम मीणा, दुर्गालाल नागर समेत दर्जनों किसानों ने ज्ञापन दिया । बताया कि सहकारी सीमित में ऋणी कृषि को दिनांक 31-03-2024 से दुर्घटना बीमा व सुरक्षा बीमा नहीं हो रहा । जिससे किसानों की आकस्मिक मृत्यु होने पर परिवार जनों को इस का बीमा का लाभ नहीं मिल रहा है ।
2022-23, 2023-24 यानि 2 साल से किसानों का नहीं हो पाया बीमा
वर्ष 2022-23 में राजस्थान प्रदेश में सहकारी बैंकों से 8 लाख किसानों ने ऋण लिया था । 28 लाख किसानों की ऋण राशि का बीमा सरकारी फाइलों में अटक गया है। सहकारी विभाग और वित्त विभाग में अटकी फाइल के कारण किसानों का वर्ष 2022-23 में बीमा ही नहीं हुआ। वर्ष 2023-24 का मामला भी अधर में निकल गया । बीमा का टेंडर करने के बाद मामला अब सहकारी विभाग के पास लंबित होने से फाइल पर अंतिम निर्णय समय पर नहीं हुआ । जिसके चलते हुआ तो आठ लाख के बजाय ऋण लेने वाले सभी 28 लाख किसान बीमा से वंचित रह जाएंगे । बीमा नहीं होने से इस समय अंतराल में जिन किसानों की मौत हो गई, कर्ज का बोझ उस किसान के परिवार पर आ गया है। राज्य सरकार राजस्थान राज्य सहकारी बैंक (अपेक्स बैंक) (Rajasthan State Cooperative Bank) के माध्यम से किसानों को ब्याज मुक्त ऋण देती है। अपेक्स बैंक सहकार जीवन सुरक्षा बीमा योजना (Sahakar Jeevan Suraksha Bima Yojana) के तहत किसान की ऋण राशि का बीमा करता है। इसका प्रीमियम खुद किसान वहन करता है। ऋणी किसान की मृत्यु होने पर ऋण का भुगतान उसके परिजन को नहीं करना होता। बीमा कम्पनी इसे वहन करती है। इस बीमा के लिए वर्ष 2022-23 के लिए अपेक्स विभाग ने टेंडर निकाले तो बीमा कम्पनियों ने दिलचस्पी नहीं दिखाई।
10 लाख से घटाकर बीमा कर दिया गया 3 लाख का
बीमा कंपनियों की बेरुखी को देखते हुए सरकार ने पहले भी बीमा शर्तें बदली थी। 79 वर्ष तक के किसानों के बीमा में दो दर रखी गई। पहली 18 से 60 वर्ष के लिए तथा दूसरी 60 से 79 वर्ष के किसानों के लिए। वहीं, सरकार ने दो साल पहले बीमा दस लाख रुपए से घटा कर तीन लाख रुपए का ही कर दिया था।
सरकार से जवाब ही नहीं आया
वर्ष 2021-22 में टेंडर लेने वाली बीमा कंपनी ने समय पूरा होने से पहले ही हाथ खड़े कर दिए थे। ऐसे में अपेक्स बैंक व सहकारी विभाग ने टेंडर के लिए कम्पनियों को सिक्योरिटी राशि व ईएमडी (अर्नेस्ट मनी डिपोजिट) में छूट देने का प्रस्ताव रखा। सहकारी विभाग में बनी कमेटी ने इस प्रस्ताव को वित्त विभाग के पास भेजा। आश्चर्य है कि वित्तिय वर्ष खत्म हो गया, लेकिन इस पर सरकार स्तर पर कोई निर्णय नहीं लिया गया। ऐसे में वर्तमान में करीब आठ लाख किसान बीमा से वंचित हैं। दूसरी और वर्ष 2023-24 के लिए होने वाला बीमा भी अभी अधर में लटक गया । इसके लिए सिक्योरिटी राशि व ईएमडी में छूट के बिना टेंडर जारी किए थे । यह मामला सहकारी विभाग में लम्बित होने से आश्चर्य है कि वित्तिय वर्ष खत्म हो गया, लेकिन इस पर सरकार स्तर पर कोई निर्णय नहीं लिया गया।